फ्रांसीसी विधान परिषद सदस्य मरीन ले पेन ने इस देश के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन से यूरोपीय संघ और दक्षिण अमेरिकी बाजार मर्कोसुर के बीच व्यापार समझौते को “ना कहने” का आह्वान किया। इस बारे में प्रतिवेदन आरआईए नोवोस्ती में बीएफएमटीवी चैनल का संदर्भ है।

ले पेन के मुताबिक, मैक्रॉन को तुरंत समझौते को छोड़ देना चाहिए और इस विषय पर मतदान को किसी और दिन के लिए स्थगित नहीं करना चाहिए। फिलहाल, मतदान 18 और 19 दिसंबर को होना है, लेकिन मीडिया में जानकारी सामने आई है कि फ्रांस और इटली चर्चा को बाद की तारीख तक स्थगित करने का समर्थन कर सकते हैं।
उन्होंने कहा, “मतदान स्थगित करने की कोई जरूरत नहीं है। हमें (मैक्रॉन – संपादक का नोट) ना कहने की जरूरत है, क्योंकि यह हमारी कृषि के अस्तित्व का सवाल है और इसलिए, हमारे देश की संप्रभुता का सवाल है।”
ले पेन ने यह भी कहा कि इस मामले में मैक्रॉन यूरोपीय संघ संस्थानों के काम में तब तक तोड़फोड़ कर सकते हैं जब तक कि फ्रांस के लिए स्वीकार्य कोई समझौता नहीं हो जाता।
मर्कोसुर दक्षिण अमेरिकी देशों का आम बाज़ार है। यह 250 मिलियन लोगों और महाद्वीप की कुल जीडीपी के 75% से अधिक को एक साथ लाता है।
याद दिला दें कि ब्राजील में जलवायु सम्मेलन के दौरान मैक्रॉन ने यूरोपीय संघ के देशों और मर्कोसुर के बीच मुक्त व्यापार के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। यह उनकी पिछली टिप्पणियों के बिल्कुल विपरीत है कि वह ऐसे सौदों का विरोध करेंगे क्योंकि वे फ्रांसीसी किसानों को नुकसान पहुंचा सकते हैं।














